neeraj sharma
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साथ मिलकर चलना हमे अब
चाहे राह हो चौबारा
मिलना मुझे मिलना तुझे
और अब जाना कहा ||
रास्ते चाहे बनते अलग
पर मिलना हमे आखिर मे
चाहे मंज़िले हो अलग अलग
पर मिलना हमे मंजिलों मे ||
चाहे सोच तेरी अलग
चाहे कुछ मेरी अलग
पर सोच बदलना जरूरी अब ||
जाना तुझे भी हे अब
जाना मुझे भी हे अब
पर मुड़कर आना जरूरी हे अब ||
होंगी कुछ खामिया मुझमे भी
पर तू भी कुछ कम नही
इन खामियो से दूर बढ़कर
खामोसिया दूर करना जरूरी अब ||
चाहे तेरी चाहत कुछ अलग
चाहे कुछ हो मेरी अलग
पर चाहतों को बदलना जरूरी अब ||
तुझे आना हे
पर ना बादल बनकर
ना बरसात बरसात बनकर
तुझे आना हे तो जाना जरूरी नही अब ||
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